उत्तराखंड सरकार ने वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए 1,01,175.33 करोड़ रुपए का बजट पेश किया, जो पहली बार एक लाख करोड़ रुपए के आंकड़े को पार कर गया है। वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने विधानसभा में यह बजट प्रस्तुत किया, जिसमें कृषि, पशुपालन, सहकारिता और ग्रामीण विकास पर विशेष ध्यान दिया गया है।
बजट में कृषि और अनुसंधान के लिए 1,259 करोड़ रुपए, सहकारिता के लिए 161 करोड़ रुपए, ग्रामीण विकास के लिए 2,856 करोड़ रुपए, बागवानी विकास के लिए 657 करोड़ रुपए, सिंचाई एवं बाढ़ नियंत्रण के लिए 1,899 करोड़ रुपए ओर पशुपालन के लिए 9,329 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। इसके अलावा दीनदयाल उपाध्याय सहकारिता किसान कल्याण योजना के लिए 85 करोड़ रुपए और मत्स्य विभाग की ट्राउट प्रोत्साहन योजना के लिए 146 करोड़ रुपए आवंटित किए गए हैं।
किसान पेंशन योजना के लिए 42 करोड़ रुपए, मिशन एप्पल के तहत 35 करोड़ रुपए और मुख्यमंत्री राज्य कृषि विकास योजना के लिए 25 करोड़ रुपए का बजट रखा गया है। दुग्ध मूल्य प्रोत्साहन योजना के लिए 30 करोड़ रुपए और साइलेज के लिए 40 करोड़ रुपए आवंटित किए गए हैं। बजट में पशुपालन को भी विशेष प्राथमिकता दी गई हैं। ग्राम्य गौ संरक्षण को बढ़ावा देने के लिए 10 करोड़ रुपए और निराश्रित पशुओं व गौ सदनों के लिए 10 करोड़ रुपए का बजट आवंटित किया गया है।
जल संसाधनों को पुनर्जीवित करने के लिए स्प्रिंग एंड रिवर रिजुवनेशन के लिए 27 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। वहीं मुख्यमंत्री मत्स्य संपदा योजना के लिए 12.43 करोड़ रुपए, गंगा गाय महिला डेयरी विकास के लिए 5 करोड़ रुपए, स्थानीय फसलों के प्रोत्साहन कार्यक्रम के लिए 5.75 करोड़ रुपए, मिलेट मिशन के लिए 4 करोड़ रुपए और रेशम फेडरेशन के लिए 5 करोड़ रुपए का रिवॉल्विंग फंड रखा गया है।
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